स्वर:- धर्मेंदर अलबेला
बकर बकर बोलताटे एत समियाना में
ढोरि हई बटोरी जवाना बनल कारखाना में।
एही ढोरही।।एही ढोरही।।
( आ अही ढोड़ी के सभे दीवाना बा
एकरा नीचे शहर लुधियाना बा।)2
(भिरी ना सटा बाबू रहा जनी कगरी
झोटा पकर के उखाड़ देले बबरी।)2
यूपी बिहार में बा लाफूवाण के सैना
(धा के ढूका देला लहंगा में पैना।)2
(भिरी ना सटा बाबू रहा जनी कगरी
झोटा पकर के उखाड़ देले बबरी।)
यूपी बिहार में बा लाफूवाण के सैना
(धा के ढूका देला लहंगा में पैना।)2
खोदा खोदी होई आज तहरा खजाना में
मराब ऐसन चोट कि रिपोर्ट जाई थाना में
एही ढोरही।।एही ढोरही।।
( आ अही ढोड़ी के सभे दीवाना बा
एकरा नीचे शहर लुधियाना बा।)2
सुना। भूवर भोजपुरिया लगेला बेदर्दी
मारब एसन पिए लगवा हर्दी
सुना ए सिलपी सुधा र रहनियां
लेबे के चुम्मा करे बा बोहनियां
ए सुना तरू।सुना।
अमरेन्द्र अलबेला लागेला बेदर्दी
माराब एइसन पिए लगवा हर्दी
सुना ए सिलपी सुधा र रहनियां
लेबे के चुम्मा करे बा बोहनियां
करा तारू चोना घेरल लिखल ईहे पन्ना में
रात भर बाजी बारा दम बा ई गाना में
एही ढोरही।।एही ढोरही।।
( आ अही ढोड़ी के सभे दीवाना बा
एकरा नीचे शहर लुधियाना बा।)
हमर ढोड़ी के सभे दीवाना बा
एकरा नीचे शहर लुधियाना बा
बकर बकर बोलताटे एत समियाना में
ढोरि हई बटोरी जवाना बनल कारखाना में।
एही ढोरही।।एही ढोरही।।
( आ अही ढोड़ी के सभे दीवाना बा
एकरा नीचे शहर लुधियाना बा।)
।अरे तुहु एही में समा जईबा हो।

